रायपुर। भारतीय जनता पार्टी के प्रदेश प्रवक्ता व विधायक शिवरतन शर्मा ने प्रदेश सरकार द्वारा जिला पंचायतों को जारी उस पत्र पर सवाल उठाए हैं, जिसमें क्वारेंटाइन सेंटर्स में बुनियादी ज़रूरतों के लिहाज़ से व्यवस्थाएँ करने के निर्देश दिए गए हैं। श्री शर्मा ने प्रदेश सरकार को चुनौती दी है कि वह इन क्वारेंटाइन सेंटर्स के लिए सर्वदलीय समिति बनाकर प्रदेशभर के किन्हीं भी 10 क्वारेंटाइन सेंटर्स का चयन कर उसका निरीक्षण करा ले तो उसे इन व्यवस्थाओं के जमीनी सच का पता चल जाएगा कि प्रदेश शासन क्वारेंटाइन सेंटर्स के इंतज़ामात को लेकर कतई गंभीर नहीं है।
भाजपा प्रदेश प्रवक्ता व विधायक श्री शर्मा ने कहा कि क्वारेंटाइन सेंटर्स के लिए महिलाओं व पुरुषों के लिए अलग-अलग अस्थायी शौचालय व स्नानघर, पीने व अन्य कार्यों के लिए पानी, पानी ड्रम, बाल्टी, मग, नहाने व कपड़ा धोने के लिए साबुन, आईना, पंखा, लाइट, कूलर, दो समय का भोजन, एक समय का नाश्ता, दो समय की चाय, भोजन के लिए दोना-पत्तल, डिस्पोजल गिलास, चौकीदार, बेरीकेट्स, सेनिटाइजर बोतल, मास्क, फिनाइल, डस्टबिन, झाड़ू, टॉयलेट ब्रश, पोछा कपड़ा व बाल्टी, गैस सिलेंडर, गद्दा-चादर-तकिया, मच्छरदानी, क्वॉइल, अवशिष्ट नष्ट करने गड्ढा के साथ ही परिवहन की सुविधा और आइसोलेशन के लिए एक आरक्षित कमरा होने की बात पत्र में कही गई है।
भाजपा प्रवक्ता व विधायक श्री शर्मा ने कहा कि प्रदेश का एक भी क्वारेंटाइन सेंटर इन सारी व्यवस्थाओं से परिपूर्ण नहीं है और तमाम क्वारेंटाइन सेंटर्स प्रदेश सरकार की बदइंतज़ामी और बदनीयती की दास्तां कह रहे हैं। ये क्वारेंटाइन सेंटर्स किसी सराय से कम नहीं रह गए हैं। श्री शर्मा ने कहा कि जिन पंचायतों को इन क्वारेंटाइन सेंटर्स के संचालन का ज़िम्मा सौंपा गया है, उन्हें प्रदेश सरकार की ओर आर्थिक संसाधन ही मुहैया नहीं कराए जा रहे हैं जबकि केंद्र सरकार की ओर से प्रदेश में आपदा मद में राशि दी जा चुकी है जिससे इन क्वारेंटाइन सेंटर्स की व्यवस्थाएँ दुरुस्त रहें। भाजपा लगातार इन सेंटर्स की खामियों प्रदेश सरकार का ध्यान खींच रही है, लेकिन सत्तावादी अहंकार में चूर सरकार सुधार के लिए ज़रा भी गंभीर नहीं दिख रही है।
भाजपा प्रदेश
प्रवक्ता व विधायक श्री शर्मा ने कहा कि जिस बड़बोली प्रदेश सरकार की नाक के नीचे राजधानी के कंटेनमेंट ज़ोन तक में कीड़ायुकत और बदबूदार राशन सामग्रियों के पैकेट्स वितरित हो रहे हों, उस सरकार से क्वारेंटाइन सेंटर्स के पुख़्ता इंतज़ाम की उम्मीद बेमानी ही है। कोरोना-काल से जूझते प्रदेश में सरकारी सहायता का क्रूर और बेहद शर्मनाक ज़मीनी सच राजधानी के कंटेनमेंट ज़ोन सड्डू की बीएसयूपी कॉलोनी में शनिवार की रात दिख चुका है जहाँ लोगों ने कहा कि कोरोना से पहले तो लोग फूड प्वॉइजनिंग से अनहोनी के शिकार हो जाएंगे। श्री शर्मा ने कहा कि यही बदहाली और बदइंतज़ामी पूरे प्रदेश के क्वारेंटाइन सेंटर्स का भी ज़मीनी सच है, जिसके चलते इन सेंटर्स में आत्महत्या, सर्पदंश से मौत और लोगों के वहाँ से भाग जाने की घटनाएँ रोज सामने आ रही हैं।